30 साल बाद शंकराचार्य स्वरूपानंद से मिले केंद्रीय मंत्री प्रहलाद पटेल
नरसिंहपुर। नरसिंहपुर और खासतौर पर गोटेगांव की राजनीति में शंकराचार्य स्वरूपानंद महाराज और प्रहलाद पटेल में राजनीतिक प्रतिद्वंदिता और कटु मतभेद भी थे। विवाद इतना गहरा था कि राजनीतिक बयानबाजी से लेकर 3 दशक तक कटुता थी। इसके बाद प्रहलाद पटेल सिवनी लोकसभा के सांसद बने। वे दो बार केंद्रीय मंत्री बने हैं और उनके भाई जालम सिंह पटेल विधायक हैं। 3 दशक तक उनकी झोंतेश्वर और शंकराचार्य से दूरी बनी रही। इस बीच जगतगुरु शंकराचार्य स्वामी स्वरूपानंद महाराज अस्वस्थ हुए तो उनसे मिलने केंद्रीय मंत्री प्रहलाद सिंह पटेल, पिता मुलायम सिंह पटेल, छोटे भाई जालम सिंह पटेल अपने परिवार के साथ पहुंचे और आशीर्वाद लिया। साथ में गोटेगांव विधायक नर्मदा प्रसाद प्रजापति भी मौजूद रहे।
यह बोले प्रहलाद पटेल
शंकराचार्य से मिलने के बाद मीडिया से बात करते हुए केंद्रीय मंत्री प्रहलाद पटेल ने कहा कि तीन दशक पहले ऐसा कोई वर्ष नहीं होता था, जब हम लोग यहां न आते हों। पढ़ते थे तो पिकनिक मनाने यहां आते थे और राजनीति करने लगे तो परमा के दिन हम परमहंसी कार्यकर्ताओं के साथ आते थे। प्रहलाद पटेल ने कहा कि यह बात जरूर है कि 92 के बाद वह 30 वर्ष बाद अपने परिवार के साथ यहां आए हैं। उनके पिता शंकराचार्य के दीक्षित शिष्य हैं और मैंने भी दीक्षा ली है। उन्होंने कहा कि शंकराचार्य जी स्वस्थ रहें और शतायु हों, यही भगवती से प्रार्थना है।