मप्र में अनाज बर्बाद रोकने ओपन कैप को निजी हाथों में सौंप गोदाम बनवाने की योजना
जबलपुर। मप्र में हो रही अनाज की बर्बादी पर प्रदेश सरकार ने नई योजना पर काम करना शुरू कर दिया है। ओपन कैप को निजी हाथों में सौंप कर उनके जरिए गोदाम बनवाने की योजना बनाई गई है। पहले चरण में 5 लाख टन के भंडारण की क्षमता विकसित की जा रही है। इसमें निजी क्षेत्र का सहयोग लिया जा रहा है। जबलपुर में खाद्य नागरिक आपूर्ति और उपभोक्ता संरक्षण विभाग की समीक्षा करते हुए विभाग के प्रमुख सचिव फैज अहमद किदवई ने अधिकारियों को दो टूक कहा है कि भंडारण के मामले में किसी भी प्रकार की कोताही न की जाए। उन्होंने समितियों और केंद्रों में बायोमेट्रिक मशीनें लगाए जाने के कड़े निर्देश देते हुए कहा है कि शत-प्रतिशत बायोमेट्रिक मशीनों को लगाया जाना सुनिश्चित किया जाए।
उपार्जन के मामले में मध्य प्रदेश की हालत लगातार बेहतर होती जा रही है यहां तक की ज्यादा पैदावार वाले राज्य उत्तर प्रदेश, पंजाब, हरियाणा को टक्कर देते हुए मध्य प्रदेश में रिकॉर्ड तोड़ उपार्जन हो रहा है। बावजूद इसके भंडारण की सही व्यवस्था न होने के चलते बड़ी तादाद में अनाज हर साल बर्बाद हो रहा है। प्रदेश के खाद्य नागरिक आपूर्ति और उपभोक्ता संरक्षण विभाग ने आने वाले समय में 20 लाख टन की क्षमता विकसित करने का प्लान तैयार किया है जिसके तहत निजी क्षेत्रों को खुले कैप सौंप कर उनके जरिए भंडारण की व्यवस्था बनाई जाएगी।
खाद्य नागरिक आपूर्ति और उपभोक्ता संरक्षण विभाग के प्रमुख सचिव फ़ैज़ अहमद किदवई ने बताया कि 5 लाख टन क्षमता विकसित करने के लिए निकाले गए टेंडर में 300 से ज्यादा समूहों ने हिस्सा लिया है, जो एक बेहतर संकेत है। वेयर हाउसों में अनाज के सडऩे की लगातार आ रही शिकायतों को गंभीरता से लेते हुए खाद्य नागरिक आपूर्ति और उपभोक्ता संरक्षण विभाग ने सही पद्धति से भंडारण किए जाने के निर्देश दिए हैं। साथ ही निर्धारित समय तक ही अनाज रखने और उसके बाद भारतीय खाद्य निगम या अन्य विभागों के जरिए अनाज के वितरण की व्यवस्था सुनिश्चित किए जाने पर भी बैठक में चर्चा हुई। संभागीय समीक्षा बैठक में संभाग के विभिन्न जिलों से आए विभागीय अधिकारियों ने अपने-अपने जिलों का ब्यौरा पेश किया।