चीन के आगे नहीं झुके, पाकिस्तान को रौंदा, अमेरिका-रूस से संतुलन बनाया

भोपाल। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का जन्म 17 सितंबर 2050 को गुजरात के वडनगर में हुआ था। मोदी का जीवन गरीबी में बीता। बचपन में चाय बेची तो अध्यात्म की ओर भी उनका झुकाव रहा। फिर वे राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ से जुड़ गए। स्वयंसेवक रहते हुए वे भाजपा के संगठन से जुड़े और फिर गुजरात समेत कई राज्यों में पार्टी के लिए काम किया। लोगों के जेहन में आज भी वे तस्वीरें हैं, जिनमें वे मुरली मनोहर जोशी की तिरंगा यात्रा और लालकृष्ण आडवाणी के राम जन्मभूमि आंदोलन में अपनी अहम भूमिका निभाते नजर आए थे। संगठन का काम करते-करते वे 7 अक्टूबर 2001 को पहली बार गुजरात के मुख्यमंत्री बने। वे 13 साल तक गुजरात के मुख्यमंत्री रहे।
मोदी के शपथ लेने के बाद बाद भुज में विनाशकारी भूकंप ने पूरे राज्य को हिलाकर रख दिया। हालांकि वाइब्रेंट गुजरात जैसे मोदी के कुछ कदमों ने राज्य को फिर से उठ खड़ा होने में पूरी मदद की। गुजरात बिजली उत्पादन जैसे कई मोर्चों पर आत्मनिर्भर हो गया और इस तरह विकास के गुजरात मॉडल की चर्चा जोर पकडऩे लगी। गुजरात मॉडल ने नरेंद्र मोदी को इस तरह राष्ट्रीय स्तर की सुर्खियों में लाया कि भाजपा ने उन्हें 2013 में अगले साल के लोकसभा चुनाव के लिए अपना प्रधानमंत्री कैंडिडेट घोषित कर दिया। 2014 में नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भाजपा को शानदार जीत मिली और सालों बाद कोई पार्टी पूर्ण बहुमत से आई।
मोदी सरकार ने संविधान के अनुच्छेद 370 को जम्मू-कश्मीर से निष्प्रभावी कर दिया। मोदी ने प्रधानमंत्री के दूसरे कार्यकाल की शुरुआत में ही तीन तलाक की कुप्रथा से मुस्लिम महिलाओं को मुक्ति दिलाई। पीएम मोदी ने जन-धन, मुद्रा योजना, जन सुरक्षा योजना, उज्ज्वला योजना, उजाला योजना, भीम यूपीआई, पीएम आवास योजना, सौभाग्य योजना, आयुष्मान भारत और पीएम किसान सम्मान निधि जैसी योजनाएं लांच कीं।
प्रधानमंत्री मोदी की छवि मजबूत नेता की है। इसकी झलक उन्होंने पाकिस्तान के खिलाफ सर्जिकल स्ट्राइक की। जब पाकिस्तान में छिपे आतंकी वारदात की फिराक में थे, तब उन्होंने एयर स्ट्राइक की अनुमति भी दी। मोदी के कार्यकाल में जम्मू-कश्मीर से आतंकवाद का खात्मा हुआ और पाकिस्तान की बदहाली का दौर शुरू हो गया। मोदी ने न सिर्फ अमेरिका से बल्कि रूस से भी तालमेल बनाए रखा। चीन की धमकी के आगे वे नहीं झुके और भारतीय सेना डटकर चीन की सेना के सामने खड़ी रही। शक्तिशाली चीन को भी भारत के आगे झुकना पड़ा।
मोदी के कांग्रेस मुक्त भारत के नारे को भी बल मिला है। आज कांग्रेस अपने बुरे दौर से गुजर रही है। उसकी सिर्फ 2 राज्यों में सरकार है और कई प्रदेशों में कांग्रेस के आला नेता पार्टी छोड़ रहे हैं। इस लिहाज से यह कहना सही होगा कि मोदी भारतीय राजनीति के अजेय योद्धा बन चुके हैं। जैसे गुजरात में उन्हें कोई नहीं हरा पाया, वैसे ही देश में भी उनके सामने दूर-दूर तक कोई चुनौती नहीं दिख रही है।
मोदी के कार्यकाल में एक और यादगार पल तब आया, जब 5 अगस्त 2019 को उन्होंने अयोध्या में राम मंदिर का भूमिपूजन किया। इसके साथ ही उन्होंने इस गंभीर विवाद के कानूनी समाधान का बीजेपी का पुराना वादा पूरा कर दिया। हिट वाइस न्यूज की ओर से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को जन्मदिन की अनेकानेक शुभकामनाएं।

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